रायबरेली । उत्तर प्रदेश के रायबरेली संसदीय क्षेत्र में चुनावी पारा धीरे-धीरे अपने शबाब पर पहुंचने लगा है। मतदान की तिथि नजदीक आने के साथ ही सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और विपक्षी दल कांग्रेस के स्टार प्रचारक अपने-अपने उम्मीदवार के पक्ष में ताबड़तोड़ रैलियां, रोड शो और जनसभाएं करने में जुटे हैं। रायबरेली संसदीय क्षेत्र कांग्रेस का गढ़ माना जाता है। यहां से गांधी परिवार की तीसरी पीढ़ी के तौर पर राहुल गांधी कांग्रेस के उम्मीदवार हैं। राहुल गांधी के यहां से नामांकन के बाद से यह सीट देश भर में खासी चर्चा का विषय हो गई है। राहुल गांधी के खिलाफ भाजपा के उम्मीदवार दिनेश प्रताप सिंह, जो योगी सरकार में मंत्री हैं, चुनाव लड़ रहे हैं। राहुल गांधी और अमेठी से कांग्रेस उम्मीदवार किशोरी लाल के चुनाव की कमान संभालने प्रियंका गांधी वाड्रा को आना पड़ा है। उन्होंने आने के बाद हर रोज जनसभाओं, नुक्कड़ सभा और रोड शो आदि के माध्यम से कांग्रेस के चुनाव प्रचार को अच्छे मुकाम पर पहुंचा दिया है। इनकी रैलियों में खासी भीड़ का इजाफा देखा गया है। अब पार्टी सूत्रों से यह जानकारी निकल कर आ रही है कि आगामी 17 मई को राहुल और समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव की संयुक्त सभा और रोड शो आदि होने वाले हैं।
इसके अलावा इसी दौरान भूपेश बघेल और कांग्रेस के अन्य कद्दावर नेताओं के आने की संभावना है। गौरतलब है कि सपा भी कांग्रेस के साथ इंडिया गठबंधन में शामिल हैं। उधर भाजपा की ओर से भी वीवीआईपी नेता व स्टार प्रचारक मतदाताओं को लुभाने के प्रयास किए जा रहे हैं। शनिवार को रायबरेली के रिफॉर्म क्लब में उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने एक जनसभा को संबोधित किया। वहीं रविवार को केंद्र सरकार के गृह मंत्री अमित शाह एक चुनावी जनसभा को संबोधित करेंगे। सोमवार को ऐहार में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की जनसभा है। लगातार दोनों राष्ट्रीय दलों की ओर से ताबड़तोड़ जनसभाएं और जनसंपर्क से मतदाताओं को आकर्षित करने का अथक प्रयास जारी है। आगामी 20 मई को लोकसभा चुनाव के पांचवें चरण में रायबरेली संसदीय क्षेत्र में मतदान होना है। ऐसे में कौन सा राजनीतिक दल जनता को प्रभावित कर अपने पक्ष की हवा बना ले जाये यह 4 जून को चुनाव परिणाम के घोषित होने तक निश्चित रूप से कुछ कहा नहीं जा सकता है।