न्यूयॉर्क.
संयुक्त राष्ट्र (यूएन) ने कहा कि दुनिया के सात अरब से ज्यादा लोगों के जीवन को बेहतर बनाने के लिए तय किए गए सतत विकास लक्ष्यों की दौड़ में दुनिया काफी पीछे छूट चुकी है। 169 लक्ष्यों में से अब 2030 तक दुनिया केवल 17 फीसदी लक्ष्य ही हासिल कर पाएगी। यूएन महासचिव एंटोनियो गुटेेरस ने वार्षिक रिपोर्ट जारी करते हुए कहा कि करीब आधे लक्ष्यों को लेकर ही कुछ प्रगति दिखाई देती है और केवल 17% लक्ष्य ही तय समय सीमा में हासिल होने की संभावना है।
रिपोर्ट में कोरोना महामारी के प्रभावों का हवाला देते हुए कहा गया है कि 2019 की तुलना में 2022 में 2.3 करोड़ लोग गरीबी और 10 करोड़ से अधिक लोग भुखमरी की चपेट में आए। गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लक्ष्य को हासिल करने में दुनिया अभी भी बहुत पीछे है। दुनिया मे केवल 58 फीसदी छात्र ही प्राथमिक विद्यालय स्तर पर पढ़ने में न्यूनतम दक्षता हासिल कर पाए हैं। रिपोर्ट में बताया गया है कि दुनिया ने स्वच्छ ऊर्जा के लक्ष्य पर खासी प्रगति की है। अक्षय ऊर्जा से बिजली पैदा करने की वैश्विक क्षमता पिछले पांच वर्ष से अभूतपूर्व 8.1 फीसदी वार्षिक दर से बढ़ रही है।
युद्ध से बचाने की भी अपील
गुटेेरस ने कहा कि जलवायु परिवर्तन से निपटने और हरित व डिजिटल बदलावों की दिशा में ज्यादा पहलों की जरूरत है। इसके साथ ही उन्होंने गाजा से लेकर यूक्रेन, सूडान और अन्य जगहों पर युद्ध समाप्त करने के प्रयासों का भी आह्वान करते हुए कहा कि युद्ध दुनिया को इन लक्ष्यों को कभी हासिल नहीं करने देंगे, लिहाजा दुनिया को युद्ध और संघर्षों से बचाना होगा।