मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ने राज्य में बिजली संकट के लिए मुख्यमंत्री पर ही षड्यंत्र रचने का आरोप लगाया है. उन्होंने यहां तक कहा कि बीजेपी (BJP) के लोग ही ज्यादा बिजली की खपत कर रहे है. उसके बिल की भरपाई आम लोगों से की जा रही है. सिंह ने आरोप लगाया कि प्रदेश में भी तालिबान की तरह लोगों पर अत्याचार हो रहा है.
कांग्रेस के पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ने शिवराज सरकार पर तंज कसा. उन्होंने कहा कि अगर राज्य सरकार को बिजली कटौती नजर नहीं आ रही है तो चश्मे का नम्बर बदल लें. गांव में 5-6 दिन से बिजली नहीं है. शहर में भी दिन में 5-6 घंटे ही बिजली आपूर्ति हो रही है. बीजेपी की सरकार में मनमाने बिजली के बिल वसूले जा रहे हैं. कमलनाथ सरकार ने तो 1 रुपया यूनिट कम कर रखा था. बिना मीटर वालों के यहां 20 हजार, घर बंद है कोई रहता नही है फिर भी 3 लाख के बिल जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि जितने पावर का कनेक्शन है, उससे ज्यादा के कनेक्शन का बिल आ रहा है.
हालात सुधार नहीं सकते, तो सत्ता छोड़ दें सीएम- सिंह
पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ने आरोप लगाया कि बिजली संकट एक षड्यंत्र है. यह षड्यंत्र मुख्यमंत्री के निर्देश पर चल रहा है. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने अर्थव्यवस्था को चौपट कर दिया है. हालात सुधार नहीं सकते तो छोड़ दें, क्यों सत्ता में बैठे हैं. किसान के पुत्र होने का दावा करते हैं, मगर चौतरफा किसानों से ही लूट हो रही है. उन्होंने कहा कि गांव में अगर 20 मोटरें चलती हैं, तो 12 के बिल ही नहीं आते, क्योंकि वे बीजेपी के नेताओं की होती हैं. उन्होंने कहा कि दतिया, भिंड, मुरैना, ग्वालियर में इस तरह से ही बिजली की चोरी हो रही है.
ब्याज चुकाने को भी कर्जा ले रही सरकार
गोविंद सिंह ने कहा कि बीजेपी के लोग बिजली इस्तेमाल कर रहे हैं और उसका बिल आम लोगों के माथे मढ़ा जाता है. अधिकारी डर की वजह से कोई कार्रवाई नहीं करते. पूर्व मंत्री ने कहा कि राज्य में अराजकता (Anarchy) है. मुख्यमंत्री सिर्फ घोषणा करने में लगे हैं. घोषणाओं को पूरा करने के लिए सरकार के पास पैसा भी नहीं है. सरकार ने एक साल में 20 हजार करोड़ का कर्ज बढ़ा दिया है. ब्याज चुकाने के लिए भी सरकार कर्ज ले रही है.