मुंबई
भारत के टॉप 10 प्राइवेट बैंकों में से एक- येस बैंक ने अपने सैकड़ों कर्मचारियों की छंटनी कर दी है। बैंक अपने बिजनेस को रीस्ट्रक्चर कर रहा है, जिसके चलते कई कर्मचारियों को अपनी नौकरी गंवानी पड़ी है। बैंक की तरफ से छंटनी की यह खबर ऐसे समय आई है जब हाल ही में इसने शेयर बाजार को बताया था कि वह डेट सिक्योरिटी के जरिये फंड जुटाने का ऐलान किया है।
एक की रिपोर्ट के मुताबिक, येस बैंक ने रीस्ट्रक्चरिंग एक्सरसाइज के साथ कम से कम 500 कर्मचारियों की छंटनी कर दी है। रिपोर्ट में बताया गया कि आने वाले समय में और भी छंटनी की आशंका है। येस बैंक की तरफ से यह छंटनी कई विभागों में की गई है। छंटनी का सबसे ज्यादा असर ब्रांच बैंकिंग सेगमेंट में देखने को मिला। अन्य विभागों की बात की जाए तो रिटेल, होलसेल जैसे कई वर्टिकल्स में बैंक की छंटनी का असर दिखा है।
कंपनी ने कहा कि वह कस्टमर्स पर फोकस रहने, ऑपरेशन को कुशल बनाने के लिए समय-समय पर रिव्यू करती रहती है। रिपोर्ट में बताया गया कि नौकरी से निकाले गए कर्मचारियों को तीन महीने की सैलरी दी गई है। बता दें कि अलग-अलग कंपनियों का अलग-अलग नियम होता है। सामान्य तौर पर अगर कोई कंपनी किसी कर्मचारी को निकालती है तो उसे तीन महीने का वेतन एडवांस में देती है।
क्या डिजिटल बैंकिंग Yes Bank की छंटनी की वजह?
माना जा रहा है कि येस बैंक डिजिटल बैंकिंग की ओर बढ़ रहा है और कर्मचारियों की संख्या में कटौती करके लागत में कटौती करना चाहता है। एक्सचेंजों को दी गई फाइनेंशियल ईयर के परफॉर्मेंस की जानकारी में बैंक ने बताया था कि वित्त वर्ष 2023-2024 (FY24) के दौरान उसके लिए कर्मचारियों का खर्च 12 फीसदी से ज्यादा बढ़ गया। वित्त वर्ष 2023 के अंत में खर्च 3,363 करोड़ रुपए से बढ़कर वित्त वर्ष 24 के अंत में 3,774 करोड़ रुपए हो गया था। FY24 के दौरान येस बैंक का नेट मुनाफा (net profit) 74.4% बढ़कर 1,251 करोड़ रुपए हो गया था।